Wednesday, December 27, 2017

महाभारत की लोककथा - भाग 40

‘‘धैर्य की परीक्षा’’ प्रथम भाग 
============================

महाभारत की कथा की 65वीं कड़ी में प्रस्तुत यह लोककथा। 


महाभारत से भी प्राचीन काल की बात है। एक बार च्यवन ऋषि राजा कुशिक के धैर्य की परीक्षा लेने के विचार से उनके पास गये और उन्होंने शर्त रखी कि उन्हें मुनि की सभी बातें माननी होगी। राजा इसके लिये सहर्ष तैयार हो गये, किन्तु च्यवन ऋषि का तरीका हमेशा से ही विचित्र रहा है। यह कथा भी उनकी आश्चर्यजनक घटनाओं एवं तरीकों को सहजता से उजागर करती है। इसे विस्तार से पढ़ने के लिये नीचे दिये लिंक को क्लिक करें अथवा चित्र में इस कथा को पढ़ें।


http://pawanprawah.com/admin/photo/up2712.pdf

http://pawanprawah.com/paper.php?news=2712&page=10&date=25-12-2017

 विश्वजीत ‘सपन’

No comments:

Post a Comment